शब्द का अर्थ
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कारिक :
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पुं० [देश] करघे की वह लकड़ी जो ताने को सँभाले रहती है। खरकूत। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
कारिका :
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स्त्री० [सं०√कृ (करना)+ण्वुल्-अक, टाप्, इत्व] १. नाचनेवाली स्त्री। नर्तकी। २. व्यवसाय। व्यापार। ३. संस्कृत साहित्य में वह श्लोक जिसमें बहुत सी बातों, नियमों आदि को सूत्र रूप में कहा गया हो। ४. एक प्रकार का संकीर्ण राग। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
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