शब्द का अर्थ
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					सुनाना					 :
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					स० [हिं० सुनना का प्रे०] १. दूसरों को सुनने में प्रवृत्त करना। विशेषतः उस दृष्टि से ऊँचे स्वर में पढ़ना कि दूसरे के कानों तक वह पहुँच जाय। २. कोई ऐसी क्रिया करना जिससे लोग कुछ सुन सकें। जैसे–ग्रामोफून या रेडियो सुनाना। ३. अपना रोष प्रकट करने के लिए खरी-खोटी बातें कहना। जैसे–(क) भरी सभा में उन्होंने मंत्री जी को खूब सुनाई। (ख) कोई कहेगा तो चार सुनाएँगे। सं० क्रि–डालना।–देना।				 | 
			 
			
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				समानार्थी शब्द- 
				उपलब्ध नहीं				 | 
				
			 
			
				 
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