शब्द का अर्थ
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टान :
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स्त्री० [सं० तान-फैलाव, खिंचाव] १. तनाव। खिंचाव २. आकर्षण। ३. छापे के यंत्र में, कागज हर बार छापे जाने का भाव। ४. सारंगी, सितार आदि के परदों पर उँगली रखकर उसे इस प्रकार खींचना कि क्रमात् कई स्वर या उनकी श्रुतियाँ निकलती चलें। ५. साँप के दाँत लगने का एक प्रकार जिससे दाँत कुछ दूर तक खरोंच डालता हुआ बाहर निकलता है। स्त्री०=टाँड़। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
टानना :
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स० [हिं० टान+ना (प्रत्य०)] १. तानना। २. खींचना। ३. छापे के यंत्र में कागज लगाकर कुछ छापना। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
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